ज़िन्दगी ख़ुशी से कैसे जीते है | motivational story in hindi

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ज़िन्दगी ख़ुशी से कैसे जीते है |

नमस्कार दोस्तों...!!
आज मैं आपको एक ऐसी motivational story in hindi with moral बता रहा हु जिसे पढ़ने के बाद ज़िन्दगी ख़ुशी से कैसे जीते है  |

 motivational story in hindi को शुरू करते है | 


ज़िन्दगी ख़ुशी से कैसे जीते है |


motivational story in hindi with moral ये कहानी है रमेश नाम के एक लड़के की | जो की अपनी जिंदगी से बहुत ही परेशांन था | एक दिन वो एक नदी किनारे बैठा था  और सोच रहा था मेरेसाथ ही ऐसा क्यों है | सब लोग इतने खुश है और उनकी ज़िन्दगी में कोई भी परेशानी नहीं है | मेरे ही ज़िन्दगी में इतनी परेशानी क्यों है ?


रमेश ये सब बातें सोचते हुए नदी किनार बैठा था | फिर कुछ समय बाद वह से एक ज्ञानी महाराज गुजर रहे थे | उन्होंने  देखा एक लड़का नदी के किनारे बैठा था | और वो बहुत परेशान था | फिर वो उस लड़के पास गए और बोले क्या हुआ तुम इतने परेशां क्यों हो ?   motivational story in hindi with moral


रमेश ने कहा महाराज मेरी ज़िन्दगी में बहुत परेशनि है आप नहीं समज पाओगे | महाराज मुस्कुराये और बोले बतादो अगर संभव होगा तो बताऊंगा  | फिर लड़के ने सारी  बात बताई | महाराज बोले  "तुम एक काम करो तुम्हे आज से कल सुबह तक जितने भी लोग मिले जो तुम्हे लगताये बहुत खुश है अपनी जिन्दंगी में उन्हें जाकर मिलो और पूछो आपकी खुशहाल ज़िन्दगी का राज क्या है ? और वो जो बोलेंगे वो तुम मुझे कल आकर बताना | 


लड़का बोलै ठीक है | फिर रमेश एक बगीचे में गया | वह पर उसे एक बड़े बुजुर्ग मिले | वो बगीचे में मुस्कुराते हुए बच्चो को देख रहे थे | 

फिर रमेश उनके पास गया और पूछा " दादाजी आपकी इस खुशहाल ज़िन्दगी राज क्या है ? " दादाजी मुस्कुराहट से बोले " बेटा , मेरी करोडो की प्रॉपर्टी है पर में पुरे घर में अकेला रहते  हु | मेरा बटा विदेश में है | पहले तो मुझे इस बात का बहुत बुरा लगता | पर अब मैंने खुश रहना सिख लिया है | और अभी मेरे पास जो है उसीका आनंद लेता हु | यही मेरे ख़ुशी का राज है |"  motivational story in hindi with moral


ये सुनकर रमेश को बहुत दुःख हुआ | फिर उसे उसी बगीचे में एक अफसर अपनी लैपटॉप पर काम करते दिखा | फिर रमेश को लगा ये कितना खुश इसके पास सब है | फिर उसने उस अफसर से पूछा की आपके पास इतना सब है आप कितने खुश नसीब है | अफसर ने मुस्कुराहट के साथ कहा " में दिन - रत मेहनत करता हु अपनी परिवार केलिए लेकिन उनके साथ समय नहीं बिता सकता | खुद के बारे में भी नहीं सोचते | "


ये सुनकर भी रमेश उदास हुआ | फिर उसे उसी गार्डन में एक बच्चा मिला | फिर उसने उस बच्चे को कहा तुम कितने खुशनसीब हो तुम्हे सिर्फ खेलना है कोई टेंशन नहीं  |  बच्चा बोलै " नहीं ,भैया मुझे हर दिन स्कूल जाना पड़ता है | पढाई करनी पड़ती है और मम्मी पापा भी डॉंटे है | " ये सुनकर भी रमेश को कुछ अच्छा नहीं लगा | 


फिर दूसरे दिन रमेश उसी जगह उन महाराज से मिला | और उन्हें साडी बातें बताई | उस बुजुर्ग आदमी की, उस बच्चे की और उस अफसर की | तब महाराज बोले " तुम्हारे पास तो तुम्हारे माबाप है एक परिवार है जो उस बुजुर्ग के पास नहीं है |


 उस अफसर के पास परिवार हो कर भी वो उसे समय नहीं दे रहा | और वो बच्चा अपनी किताबो की दुनिया में अपना बचपन गुजार रहा है | 

इन सब में कोई भी अपने ज़िन्दगी में सुखि नहीं है | फिर भी वो जो मिल रहा जितना है उसमे खुश है और अपनी ज़िन्दगी खुशाल कर रहे है नाकि ये सोच कर रो रहे है की हमारे पास कुछ भी नहीं है | 


इसलिए तुम्हारे पास जो है उसमे खुश रहना सीखो और खूब मेहनत करके अपनी परिस्थीत  को बदलो | हर किसी की ज़िन्दगी में परेशनिया है बस ये हम पर निर्भर करता है की उसे है हसकर गुजरना है या रोकर | 


ये सुनकर रमेश को अपनी गलती का एहसास हुआ | और वो फिर अपने काम में ख़ुशी से लग गया | 


सिख : 

दोस्तों इससे हमे यह सिख मिलती है | ज़िन्दगी में कुछ भी हो जाये खुश रहना कभी नहीं छोड़ना क्योकि परेशानिया सबकी ज़िन्दगी में है कोई हसकर निभाता है तो कोई रोकर निभाता है | परेशानिया हसकर निभाओगे तो वो जल्दी ख़तम होती है | 


अगर ज़िंदगी भर उसे गले लगा कर बैठो गेटो वो कभी ख़त्म नहीं होगी | क्योकि ज़िदंगी एक परीक्षा है यहाँ हर मोड़ पर मुसीबते है और उसे आपको है हसकर निभाना है और जो भी आपके पास है उसका आनंद लेना है |  motivational story in hindi with moral

 " परेशानी  एक दर्द की तरह है और 

मुस्कुराहट एक दवाई है| "

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